कोतवाली पुलिस ने भयादोहन कर, झूठे मामले में फंसाने की धमकी देने वाले लोगों के खिलाफ मामला किया दर्ज, विवेचना जारी, कई पुलिसकर्मी भी रडार पर

(हेमन्त बघेल)
बलौदाबाजार। जिला मुख्यालय में लंबे समय से सेक्स रैकेट का खुला खेल चल रहा था जिसमें जनप्रतिनिधि, पुलिस सहित तमाम लोग गिरोह बनाकर धनाढ्य लोगों जाल में फंसाकर मोटी रकम वसूलते थे, मामला जिला मुख्यालय सहित राजधानी में चर्चा का विषय बना तो बलौदाबाजार पुलिस ने जांच प्रारंभ की जिसमे आज पुलिस ने कुछ लोगों के यहाँ सर्च मारा है।
आपको बता दे कि सिटी कोतवाली के अपराध क्र. 250/2024 धारा 384,389,34 भादवि के प्रकरण की जांच में पीड़ित पक्ष के लोगों से विस्तृत पूछताछ की गई है, जिसमें यह तथ्य सामने आया कि मुख्य सरगना मोंटी उर्फ प्रत्यूष मरैया, दुर्गा टंडन, शिरीष पांडे, महान मिश्रा व अन्य आरोपियों द्वारा महिलाओं को पीड़ितों के घर में भेजा जाता था तथा उसके पश्चात पीड़ितों द्वारा बिना कोई अपराध किये, उन्हें झूठे मामले में फंसाने की धमकी देकर, दबावपूर्वक, अपराधिक षड्यंत्र करते हुए मोटी रकम उगाही की जाती थी।
ऐसे मामले संज्ञान में आने पर जांच तस्दीक़ कर अपराध पंजीबद्ध करते हुए विवेचना कार्यवाही में लिया गया। प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए जिला बलौदाबाजार-भाटापारा पुलिस द्वारा अपराध से संबंधित सुसंगत साक्ष्य के संकलन के लिए विधि द्वारा विहित प्रावधान के परिपालन में सर्च वारंट जारी कर संदेहियों के निवास एवं अन्य ठिकानों में सर्च अभियान जारी किया जा रहा है। प्रकरण के मुख्य सरगना दुर्गा टंडन, मोंटी उर्फ़ प्रत्युष मरैया, शिरीष पांडे अभी फरार है। दुर्गा टंडन के घर के बाहर पुलिस बल लगा दिया गया है ।
प्रकरण के सरग़ना की पता तलाश के लिए पुलिस की 05 स्पेशल टीम का बनाकर लगातार पतासाजी किया जा रहा है। अभी तक की जांच विवेचना कार्यवाही में 02 पीड़ितों से भयादोहन कर लगभग 25 लाख रुपए की वसूली किए जाने का मामला सामने आया है। साथ ही पुलिस ने ऐसे प्रकरणों में अन्य पीड़ित, जिनको डराकर, धमकाकर, पैसा वसूली की गई है, वह भी थाना सिटी कोतवाली आकर, अपनी शिकायत दर्ज कराने की बात कही है।
पुलिसकर्मी गिरप्त से बाहर
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार कभी सुहेला तो वर्तमान कोतवाली में एक नम्बर की कमान संभाल रहे पुलिसकर्मी भी रडार पर है, इसके द्वारा कोतवाली क्षेत्र अंर्तगत तमाम शराब, गांजा सहित सट्टा के कारोबार पर पूर्ण संरक्षण देने का आरोप लग चुका है, साथ ही इसके द्वारा ही लाखों की वसूली की जाती है, जिसका कुछ हिस्सा सभी मातहतों पर बटवारा किया जाता है, आपको बता दे कि उक्त पुलिसकर्मी द्वारा 6-6 माह में लग्जरी गाड़ियां चेंज किया जाता है, साथ ही मुख्यालय सहित राजधानी में मकान और जगह-जगह अवैध कमाई से जमीन भी खरीदा गया है।
जिसकी जांच आवश्यक है।, इसके अलावा सूत्रों ने दावा किया कि अगर उक्त पुलिस कर्मी की सीडीआर जांच की जाती है तो दूध का दूध और पानी का पानी हो जायेगा, क्योंकि इसे जिला पुलिस कार्यालय में कुछ Asi रैंक के कर्मचारियों का भी संरक्षण रहा है, जिसके द्वारा पूरे मामले में हिस्सा लिया जाता रहा लेकिन सामने नही आने पर उक्त कर्मी केवल राडार पर है, सुत्रों ने दावा किया कि जिला कार्यालय में पदस्थ एक Asi द्वारा ही कोतवाली में एक नम्बर की कमान संभाल रहें उक्त कर्मी को पूरा संरक्षण दिया जाता है, और उसके अनुसार ही मनमर्जी लिस्ट बनाकर ट्रांसफर कराया जाता रहा है। आपको बता दे कि उक्त एक नम्बरी पुलिसकर्मी द्वारा 6-6 माह में लग्जरी गाड़ियां चेंज किया जाता है। साथ ही इसके अलावा भी कई पुलिसकर्मी पूरे सेक्स रैकेट के संलिप्त है, सूत्रों ने कहा कि उक्त पुलिस कर्मी डंके की चोट पर अवैध शराब सहित गांजा के कारोबार पर कई बार चर्चा में रहा है अब सेक्स रैकेट मामले में प्रारंभ से ही मुख्य चर्चा में रहा है लेकिन तत्कालीन अधिकारियों के कृपापात्र होने के कारण उक्त पुलिसकर्मी पर अभी तक आंच नही आ सका है।
जबकि सूत्रों ने दावा किया है कि उक्त सेक्स रैकेट पर इस पुलिसकर्मी का पूरा योगदान रहा है, लेकिन ऐसे दागी कर्मियों के खिलाफ कार्रवाई नही होने पर हौशला बुलंद है, फिलहाल अभी पुलिस की विवेचना एंव कार्रवाई जारी है। अब आगे देखना होगा कि उक्त पुलिसकर्मी पर विभाग कितनी कठोर कार्रवाई करता है।