मकर स्नान अक्षय फल दायक है -राजेश्री महन्त जी चित्त्रोत्पला गंगा के त्रिवेणी संगम में आस्था पूर्वक डुबकी लगाया श्रद्धालु भक्तों ने
मदन खाण्डेकर
गिधौरी। मकर संक्रांति के पावन अवसर पर छत्तीसगढ़ के कोने-कोने से पहुंचकर श्रद्धालु भक्तों ने भगवान श्री शिवरीनारायण की पावन धारा में स्थित चित्रोत्पला गंगा के पावन त्रिवेणी संगम पर स्नान कर पुण्य लाभ अर्जित किया। महामंडलेश्वर राजेश्री महन्त रामसुन्दर दास जी महाराज भी अपने सहयोगियों सहित मकर स्नान के लिए श्री दूधाधारी मठ रायपुर से चलकर शिवरीनारायण पहुंचे।
सुबह 6:30 बजे त्रिवेणी संगम के बावा घाट में पहुंचकर स्नान करके पूजा अर्चना की। इस अवसर पर उन्होंने अपने संदेश में कहा कि- सनातन धर्म में मकर संक्रांति का बहुत महत्वपूर्ण स्थान है। भगवान सूर्य नारायण कर्क रेखा से चलकर मकर रेखा में प्रवेश करते हैं इसे धर्म शास्त्रों में सूर्य देवता का उत्तरायण होना कहा गया है। भगवान सूर्य तेज, ऐश्वर्य, बल, बुद्धि के देवता हैं। जो लोग श्रद्धा भक्ति पूर्वक मकर स्नान करके भगवान सूर्य नारायण की पूजार्चना करते हैं उन्हें अक्षय फल की प्राप्ति होती है। लोगों ने मकर संक्रांति के अवसर पर परिवार सहित हजारों की संख्या में शिवरीनारायण स्थित त्रिवेणी संगम पहुंचकर आस्था की डुबकी लगाई और भगवान श्री शिवरीनारायण जी का दर्शन पूजन कर अपना जीवन धन्य बनाया। मंदिर में दर्शनार्थियों का समाचार लिखे जाने तक दिन भर तांता लगा हुआ है। नगर के समाज सेवियों द्वारा अनेक स्थानों पर श्रद्धालुओं को खिचड़ी प्रसाद वितरित किया जा रहा है लोग एक दूसरे को बधाई देते हुए नजर आ रहे हैं।